जब भी कोई हिस्सा कटा शरीर का
खून ही निकला है
आपकी नज़र में आपका खून था
मेरा पानी ही निकला है
दर्द का जब भी कोई नुश्का मिला
आपकी दवा थी
मेरा जहर ही निकला है
मैने जो खोया वो मेरा था
जो पाया वो आपका निकला है
मुश्किलों का मुकाम जब भी ढूँढा
पता आपका ही निकला है
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1 comments :
thank you sir
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