April 22, 2011

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मानस भ्रम...
तेरे चले जाने के गम को प्यार समज बैठे
नादान बन कर दो आँसू भी बहा बैठे
एक बार पीछे मूड के तो देखेंगे ज़रूर
इसी इंतज़ार मे ज़िदगी के लम्हें लूटा बैठे
मूड के आए भी तो किसी और के साथ
तस्लिम के लिए ग़लती से सर झुका बैठे
5-22-2011

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